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शिविर में चुनें पीएम मुद्रा बैंक के हितग्राही

Sep 20, 2015

pm mudra bankदुर्ग। राजस्व मंत्री प्रेमप्रकाश पाण्डेय ने शनिवार को स्थानीय सर्किट हाउस दुर्ग में दुर्ग संभाग के पांचों जिलों के कलेक्टर्स, बैंकर्स एवं उद्योग विभाग के अधिकारियों की बैठक ली। मंत्री प्रेमप्रकाश पाण्डेय ने प्रधानमंत्री मुद्रा बैंक योजना की समीक्षा कर रहे थे। उन्होंने अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि शहरों के बीच बाजार लगने वाले स्थानों पर केम्प लगाकर वास्तवित हितग्राही का चयन कर लाभान्वित करें। योजना अंतर्गत ऋण की स्वीकृति, वास्तवित पात्र व जरूरतमंद आवश्यकता वाले हितग्राही का चयन करने कहा है। ऋण स्वीकृति के लिए हितग्राही को अनावश्यक रूप से परेशान नहीं करने तथा योजना अंतर्गत निर्धारित मापदण्डों के अनुसार अनाधिकृत रूप से बैंक गारण्टी, पू्रफ आईडी, शपथ पत्र, साक्ष्य, गारेंटर के लिए बाध्य नहीं करने के कड़ी निर्देश दिए है। उन्होंने कहा है कि प्रधानमंत्री मुद्रा बैंक योजना का उद्देश्य कम आय वाले व्यक्तियों को ऋण दिया जा कर उन्हें व्यापार व रोजगार स्थापित कर आत्मनिर्भर व स्वावलंबी बनाना है। कम आय की स्थिति में ऋण दिया जा कर उनके आर्थिक स्थिति में मजबूती लाना तथा साहूकारों के कर्ज से मुक्ति दिलाना है। Read More
मंत्री पाण्डेय ने अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा है कि प्रधानमंत्री मुद्रा बैंक योजनांतर्गत निर्धारित तीनों प्रकार की योजना शिशु, किशोर एवं तरूण अंतर्गत प्राथमिकता से ऋण की स्वीकृति करने कहा है। लीड बैंकर्सों से कहा है कि वे अपने अधिनस्त बैंक के अधिकारियों को निर्देशित करें कि वे निर्धारित लक्ष्यों की स्वीकृति का कार्य अविलंब पूर्ण करें। ऋण स्वीकृति का कार्य न केवल लक्ष्य पूरा करने के उद्देश्य से किया जाए अपितु आवश्यकता वाले हितग्राहियों का चयन पर विशेष ध्यान रखने कहा है। समीक्षा बैठक के दौरान आई कुछ कठिनाइयों के संबंध में प्रस्ताव बनाकर राज्य सरकार व केन्द्र सरकार के वित्त मंत्रालय को अवगत कराने के निर्देश दिए है। बैठक में दुर्ग संभाग के कमिश्नर अशोक अग्रवाल ने कहा कि योजना का उद्देश्य ज्यादा से ज्यादा लोगों को लाभान्वित कराना है। बैंकों के द्वारा यह प्रयास किया जाना चाहिए कि सरलीकरण के तहत योजना का क्रियान्वयन किया जाए। केम्प लगाकर हितग्राहियों का चयन करने तथा ऋण स्वीकृति अविलंब करने कहा है। संभाग के अंतर्गत सभी बैंकों के द्वारा शासन द्वारा निर्धारित मापदण्डों का पालन सुनिश्चित किया जाए। बैंकों के द्वारा प्रचार-प्रसार किया जाए। शासन के निर्देशानुसार 25 सितम्बर से 02 अक्टूबर तक केम्प लगाकर प्रत्येक बैंक को 25 प्रकरण ऋण स्वीकृति किया जाना है। सभी बैंकों को दिए गए लक्ष्य को पूर्ण करने के निर्देश दिए गए है। लीड बैंकर्स के जनरल मैनेजर पाटिल ने बताया कि प्रधानमंत्री मुद्रा बैंक योजना अंतर्गत तीन प्रकार के ऋण स्वीकृति किया जाना हैै।
इसके अंतर्गत शिशु योजनांतर्गत 50 हजार रूपए तक का ऋण दिया जाएगा। इसी प्रकार किशोर योजनांतर्गत 50 हजार से 05 लाख रूपए तक की ऋण स्वीकृति तथा तरूण योजनांतर्गत 05 लाख रूपए से 10 लाख रूपए तक की ऋण स्वीकृति दिया जाएगा। मुद्रा बैंक की मुख्य विशेषता के अनुसार सूक्ष्म एवं लघु व्यवसाय इकाईयों को संस्थागत वित्त उपलब्ध कराना है। योजनांतर्गत कोई बैंक गारंटी प्रतिभूति देना नहीं हैं। कार्यशील पूंजी ऋण मुद्रा कार्ड के माध्यम से ऋण दिया जाएगा।
शिशु ऋण योजनांतर्गत फल एवं सब्जी विक्रेता, चाय विक्रेता, पापड़, अचार बनाने वाले, ग्रामीण स्तर पर व्यवसाय करने वाले व्यक्ति पान-ठेला, सेलून, दर्जी, बढ़ई, सायकिल एवं मोटर सायकिल रिपेयरिंग, कुम्हार, बिजली रिपेयरिंग, मूर्तिकाल शिल्पकार जैसे कार्य करने वाले व्यक्ति को ऋण उपलब्ध कराया जाएगा। किशोर ऋण तथा तरूण ऋण अंतर्गत व्यापार स्थापित करने वाले व्यक्तियों को, परिवहन संचालन, उद्योग स्थापित करने वाले, होटल व्यापार करने वाले, हाथकरघा, कम्प्यूटरीकृत व्यापार जैसे अन्य प्रकार के कंपनी स्थापित करने वाले व्यक्तियों को ऋण की स्वीकृति दिया जाएगा। शिशु ऋण अंतर्गत पहचान पत्र, नवीनतम फोटा, अन्य किसी बैंक या संस्था का चूककर्ता नहीं होना चाहिए। किशोर एवं तरूण ऋण योजनांतर्गत पहचान एवं पते का प्रमाण पत्र, मशीन या अन्य वस्तु के खरीदी हेतु कोटेशन, व्यवसाय की पहचान तथा पते का प्रमाण पत्र, अन्य किसी बैंक तथा संस्था का चूककर्ता नहीं होना चाहिए।

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