दुर्ग। जिले में डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम शिक्षा गुणवत्ता अभियान के अच्छे नतीजे सामने आए हैं। अभियान के बाद बच्चों का न केवल ज्ञान का स्तर बढ़ा है बल्कि पाठ्यक्रम की भी बेहतर समझ विकसित हुई है। राज्य के मुख्य सचिव विवेक ढांढ ने जब उनसे सवाल पूछे तो उनके फटाफट जवाब से वे बेहद प्रभावित हुए। इससे पहले आयुक्त ब्रजेश चंद्र मिश्र भी बच्चों की प्रगति पर संतोष व्यक्त कर चुके हैं।
प्रदेश के मुख्य सचिव विवेक ढांढ ने बेमेतरा जिले के बेरला विकासखण्ड के ग्राम कंडरका में स्कूली बच्चों के बीच पहुंचकर उनकी बौद्धिक क्षमता तथा गणित और अंग्रेजी के साथ अन्य विषय आधारित पाठ्यक्रम की जानकारी ली और विविध गतिविधि से रू-ब-रू हुए। उन्होंने स्कूली बच्चों से उनके पाठ्यक्रम एवं कक्षाओं के अनुरूप अलग-अलग विषयों पर प्रश्न पूछे। मुख्य सचिव सही और फटाफट जवाब देने वाले स्कूली बच्चों से प्रभावित भी हुए। उन्होंने ऐसे बच्चों का उत्साहवर्धन करते हुए ताली बजाकर स्वागत किया साथ ही पेन व चॉकलेट भेंटकर शुभकामनाएं दी।
स्कूली बच्चे और ग्रामवासियों के लिए यह आश्चर्य से भरा बात रही कि प्रदेश के मुख्य सचिव श्री ढांढ उनके साथ न केवल उनके साथ बेहद सहजतापूर्वक बात कर रहे हैं बल्कि छत्तीसगढ़ी बोली से भी उनसे बात कर रहे थे।
मुख्य सचिव ने ग्राम पंचायत के प्रतिनिधियों एवं शाला विकास प्रबंधन समिति के सदस्यों तथा ग्रामवासियों के बीच मंच पर बच्चों और शिक्षकों को बुलाकर शाला और बच्चों का मूल्यांकन किया। बच्चों के द्वारा गुलदस्ता भेंट किए जाने पर श्री ढांढ ने इन गुलदस्तों से उनके माता-पिता और पालक का स्वागत करने को कहा।
मुख्य सचिव ने जब कक्षा आठवीं के छात्र कृष्णा कुमार से 17 का पहाड़ा सुनाने कहा तो उसने बिना किसी झिझक के 17 का पहाड़ा मुखाग्र सुनाया। कु. दामिनी साहू ने विज्ञान संबंधी पूछे गए प्रश्न का सही-सही जवाब दिया। कु. प्रीति निषाद ने संस्कृत के श्लोकों का अनुवाद कर सुनाया। कक्षा पांचवी के छात्र हितेश कुमार निषाद ने 19 का पहाड़ा सुनाया तथा कु. उमेश्वरी निषाद ने अपने गांव, तहसील, जिला व प्रदेश का नाम बताया। मुख्य सचिव ने ऐसे सभी बच्चों का उत्साहवर्धन करते हुए ताली बजाकर स्वागत किया। उन्होंने पूर्व माध्यमिक शाला और प्राथमिक शाला के बच्चों से उनके अध्ययन-अध्यापन संबंधी बातचीत की और उनके विषय आधारित ज्ञान का मूल्यांकन किया।
मुख्य सचिव ने शाला विकास प्रबंधन समिति और शिक्षकों से शाला और बच्चों के शिक्षा का स्तर और ऊपर उठाने तथा सुधार के लिए आवश्यक सुझाव भी मांगे। साथ ही उनसे नियमित रूप से शाला का निरीक्षण करने तथा शाला की शैक्षणिक गतिविधियों पर नजर रखने एवं अपनी भागीदारी सुनिश्चित करने का अनुरोध किया। उन्होंने शिक्षकों को निर्देशित किया है कि वे नियमित रूप से शाला आएं और निर्धारित समय तक स्कूल का संचालन करें। कमजोर छात्रों के लिए अतिरिक्त कक्ष लगाकर उन पर विशेष ध्यान देने के निर्देश भी उन्होंने दिए।
उल्लेखनीय है कि यहां के पूर्व माध्यमिक शाला को सी ग्रेड व प्राथमिक शाला को ए ग्रेड में अंकित किया गया है।
बच्चों को दिए टिप्स
मुख्य सचिव ने बच्चों से अपने शिक्षकों का सम्मान करने और उनके मार्गदर्शन और सुझाव का पालन करते हुए अपने सपनों को साकार करने के लिए प्रेरित किया। उन्होंने बच्चों से कहा कि वे कभी भी अभाव को कामयाबी की राह में रोड़ा नहीं बनने देें और उन्हेें मिलने वाली असफलता से कभी भी निराश नहीं हो बल्कि हमेशा अपनी मंजिल पाने के लिए तत्पर रहें।
इस दौरान दुर्ग संभाग के आयुक्त ब्रजेश चंद्र मिश्र, कलेक्टर बेमेतरा सुश्री रीता शांडिल्य, पुलिस अधीक्षक टी. एक्का सहित अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित थे।