भिलाई। गंभीर अवस्था में पहुंची एक गर्भवती महिला की जान स्पर्श मल्टीस्पेशालिटी हॉस्पिटल की टीम ने अपनी दक्षता से बचा ली। मरीज का गर्भाशय फट गया था और तेजी से रक्तस्राव हो रहा था। ओटी में लेने से पहले उसके दिल ने भी धड़कना बंद कर दिया था पर अंतत: उसे बचा लिया गया। राजनांदगांव की रोहिनी टंडन गर्भवती थी। इसी अवस्था में उसका गर्भाशय फट गया। आंतरिक रक्तस्राव के कारण उसकी हालत खराब होने लगी तो उसे किसी बड़े अस्पताल में ले जाने की सलाह दी गई। मरीज के परिजन उसे लेकर इस अस्पताल से उस अस्पताल जाते रहे पर मरीज की हालत को देखते हुए सभी ने हाथ खड़े कर दिये। ऐसे समय में मरीज स्पर्श मल्टीस्पेशालिटी हॉस्पिटल पहुंची।
स्पर्श की टीम उसका जीवन बचाने में जुट गई। रोहिनी का काफी खून बह गया था। उसकी जान को खतरा उत्पन्न हो गया था। स्पर्श की टीम ने तत्काल मरीज को दाखिल किया और उसकी चिकित्सा शुरू कर दी। मरीज के परिजनों को मरीज की हालत और खतरों के बारे में जानकारी देने के बाद उसे ऑपरेशन थिएटर ले जाया गया। ओटी में लेने से पहले ही मरीज के हृदय ने एकाएक काम करना बंद कर दिया।
डॉ संजय गोयल, डॉ एस श्रीनाथ, डॉ राहुल सिंह एवं समस्त स्टाफ ने सीपीआर (कार्डियो पल्मोनरी रेससिटेशन) तकनीक के द्वारा उसके हृदय की धड़कनों को फिर से शुरू किया। मरीज को तत्काल लाइफ सपोर्ट सिस्टम पर डाल दिया गया। चूंकि मरीज की जान बचाने के लिए तत्काल सर्जरी जरूरी थी इसलिए मरीज की हालत गंभीर होने के बावजूद डॉ संजय गोयल, डॉ रीमा क्षत्री, डॉ नम्रता भुसारी एवं डॉ राहुल सिंह की टीम ने सर्जरी प्लान कर लिया। सर्जरी सफल रही। इस दौरान मरीज को आठ यूनिट रक्त चढ़ाना पड़ा। मरीज को दो दिन तक वेन्टीलेटर पर रखा गया। मरीज के पूर्ण रूप से स्वस्थ होने पर उसे 4 अगस्त को छुट्टी दे दी गई।