आबू रोड। बेहतर विश्व बनाने में मीडिया की भूमिका महत्वपूर्ण है। यदि मीडिया में ट्रस्टीपन लाया जाए तो मीडिया विश्व बदलाव का बड़ा माध्यम बन सकता है। इसके लिए लोगों को आगे आकर प्रयास करना होंगे। क्योंकि आज औद्योगिक घरानों के हाथों में मीडिया की कमान है। इससे निष्पक्ष पत्रकारिता कर पाना एक चुनौैतीपूर्ण कार्य है। उक्त उद्गार न्यूज इंडिया चैनल के एडिटर इन चीफ संजय शर्मा ने व्यक्त किए। वह ब्रह्माकुमारीज संस्थान के शांतिवन परिसर में आयोजित मीडिया महासम्मेलन के उद्घाटन सत्र को संबोधित कर रहे थे। बेहतर विश्व के निर्माण के लिए प्रबुद्ध मीडिया विषय पर आयोजित महासम्मेलन में देशभर से 1500 से अधिक पत्रकार पहुंचे हैं। उन्होंने कहा कि आज मीडिया की सबसे बड़ी चुनौती है कि हमें व्यवस्था अपने हिसाब से इस्तेमाल करती है। पत्रकारिता का काम प्रश्न उठाना है। ऐसे में मीडिया में साहस होना जरूरी है। एक व्यक्ति पूरी दुनिया का परिवर्तन कर सकता है। ये बात प्रजापिता ब्रह्मा बाबा साकार कर रहे हैं।
ब्रह्माकुमारीज की संयुक्त मुख्य प्रशासिका राजयोगिनी दादी रतनमोहिनी ने कहा कि मां-बाप बच्चों को बचपन से ही अच्छे संस्कार दें। यदि मां-बाप में अच्छे गुण, विशेषताएं, आदतें और श्रेष्ठ संस्कार होंगे तो बच्चों में भी वही संस्कार विकसित होंगे। आज हम सारा दोष परिस्थिति पर देते हैं लेकिन कभी अपने कर्मों और सोच पर ध्यान नहीं देते हैं। जैसे हमारे कर्म होंगे, हमें देखकर और करेंगे। अच्छी बातों को जानने के साथ उन्हें कर्म में लाना बहुत जरूरी है। अच्छी बातों का प्रचार-प्रसार मीडिया करे तो समाज में अच्छाई का माहौल बन जाएगा।
मुंबई से आए नवभारत टाइम्स के एडिटर सुंदरचंद ठाकुर ने कहा कि मीडिया को अपनी जिम्मेदारी समझते हुए समाज को बेहतर बनाने की दिशा में जरूरी कदम उठाने होंगे। समाज के सामने आदर्श प्रस्तुत करना होगा। जयपुर से आए दूरदर्शन के डायरेक्टर डॉ. राजकुमार नायर ने कहा कि कलम ईश्वर से जुड़ने का सशक्त माध्यम है। ब्रह्माकुमारीज द्वारा इस पावन भू-धरा से समाज को बदलने का कार्य किया जा रहा है जो बहुत ही सराहनीय है। ये ऐसी संस्था है जो माताओं-बहनों द्वारा संचालित है, जहां सभी को एकसूत्र में पिरोने का कार्य किया जा रहा है। वसुधैव कुटुम्बकम की भावना को साकार किया जा रहा है।
बदलाव का सबसे बड़ा जनक है मीडिया…
केंद्रीय रुरल बिजनेस एंड प्लानिंग डिपाटर्मेंट के डिप्टी डायरेक्टर अजय कुमार रॉय ने कहा कि आजादी से लेकर देश में जो भी बड़े या महान कार्य हुए हैं वह सभी मीडिया के कारण ही संभव हो सके हैं। नए बदलाव में मीडिया सबसे बड़ी कड़ी है। देश में आरटीआई लागू करने में मीडिया की सबसे महत्वपूर्ण भूमिका रही है। वहीं बेटी बचाओ-बेटी पढ़ाओ को जन-जन का अभियान बनाने और लोगों की मानसिकता बदलने में मीडिया ने अपना अहम रोल निभाया है। वरिष्ठ पत्रकार प्रो. कमल दीक्षित ने कहा कि मीडिया ही बदलाव का सबसे बड़ा केंद्रबिंदु और माध्यम है। जब पत्रकार आध्यात्मिक रूप से सशक्त, मजबूत और दिव्य गुणों से ओतप्रोत होगा तो समाज भी उसी अनुसार हो जाएगा। क्योंकि मूल्यनिष्ठ समाज का आधार मू्ल्यनिष्ठ मीडिया है।
संस्थान के महासचिव बीके निर्वैर भाई ने कहा कि दुनियाभर में आध्यात्म की ज्योत जलाने और लोगों में सकारात्मक परिवर्तन लाने का बीड़ा मीडिया को उठाना होगा। मीडिया से ही आध्यात्म का नारा बुलंद होगा। आप सभी नए विश्व के निर्माण में अपनी कलम से शिल्पकार की भूमिका निभाने वाले मनीषी हैं।
मीडिया विंग के अध्यक्ष बीके करुणा ने कहा कि मीडिया में ही वह ताकत है जो विश्व परिवर्तन का महान कार्य कर सकता है। राजयोग कॉमेन्ट्री के माध्यस से सभी मीडियाकमिर्यों को गहन शांति का अनुभव वरिष्ठ राजयोग शिक्षिका बीके शीलू बहन ने कराया। शुरुआत में बैंगलुरु कलाकेंद्र से आईं बालिकाओं ने सुंदर नृत्य की प्रस्तुति दी। जयपुर की मीडिया विंग जोनल को-आॅडिर्नेटर बीके चंद्रकला ने मंच संचालन किया। आभार पीआरओ बीके कोमल ने माना।