भिलाई। स्पर्श मल्टीस्पेशालिटी हॉस्पिटल के विशेषज्ञों ने स्पाइन टीबी से पीड़ित एक किसान का सफल इलाज करने में सफलता प्राप्त की है। किसान की रीढ़ की हड्डी में क्षय रोग के कारण विकृति आ गई थी जिसकी वजह से रीढ़ मुड़ रही थी और रोगी के लिए खड़ा होना तक मुश्किल हो गया था। सर्जरी के बाद अब वह बिना किसी सहारे के चल फिर रहा है। उसे अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है।राजनांदगांव के इस 44 वर्षीय किसान को पिछले लगभग एक वर्ष से पीठ में दर्द की शिकायत थी। वह ज्यादा देर तक खड़ा नहीं रह पाता था। पीठ सीधी रखना भी काफी मुश्किल था। उठना बैठना मुश्किल हो गया था। समय के साथ तकलीफ बढ़ती जा रही थी। स्थानीय चिकित्सकों से इलाज कराने पर आराम नहीं हुआ। मरीज को किसी बड़े अस्पताल में दिखाने की सलाह दे दी गई।
मार्च माह में अंतिम सप्ताह में कोरोना लॉकडाउन के बीच मरीज स्पर्श मल्टीस्पेशालिटी हॉस्पिटल पहुंचा। यहां अस्थि रोग विशेषज्ञ डॉ दीपक वर्मा, न्यूरो विशेषज्ञ डॉ अनूप गुप्ता एवं न्यूरो सर्जन डॉ आदर्श त्रिवेदी की टीम ने इस चुनौती को स्वीकार किया।
मरीज की पूरी जांच के बाद पाया गया कि वह एक विरल प्रकार की टीबी की चपेट में है। इसे डॉर्सल स्पाइन ट्यूबरकुलोसिस कहा जाता है। इसमें रीढ़ के मनके क्षतिग्रस्त हो जाते हैं और रीढ़ को सीधा रखना मुश्किल हो जाता है। मरीज को सर्जरी का सुझाव दिया गया। मरीज ने इसके लिए थोड़ा समय मांगा और घर लौट गया।
अप्रैल में मरीज लौट कर आया। सर्जरी कर रीढ़ के क्षतिग्रस्त हिस्से के विकारों को दूर कर दिया गया। कुछ ही दिनों में वह उठ कर खड़ा हो गया और बिना किसी सहारे के चलने फिरने भी लगा। एक सप्ताह बाद उसे छुट्टी दे दी गई।