माँ राजराजेश्वरी समूह ने किया आत्मनिर्भर महिलाओं का सम्मान

भिलाई। महात्मा गांधी की 150वीं जयंती के अवसर पर माँ राज राजेश्वरी महिला स्व सहायता समूह ने ऐसी महिलाओं का सम्मान किया जिन्होंने अपने सामूहिक प्रयासों से आत्मनिर्भरता हासिल की। आज ये सभी विभिन्न महिला स्व सहायता समूहों का संचालन कर रही हैं। महात्मा गांधी का सपना था कि देश की महिलाएं भी शिक्षित हों, निर्णय लें और राजनीतिक, आर्थिक गतिविधियों में शामिल होकर आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ें।भिलाई। महात्मा गांधी की 150वीं जयंती के अवसर पर माँ राज राजेश्वरी महिला स्व सहायता समूह ने ऐसी महिलाओं का सम्मान किया जिन्होंने अपने सामूहिक प्रयासों से आत्मनिर्भरता हासिल की। आज ये सभी विभिन्न महिला स्व सहायता समूहों का संचालन कर रही हैं। महात्मा गांधी का सपना था कि देश की महिलाएं भी शिक्षित हों, निर्णय लें और राजनीतिक, आर्थिक गतिविधियों में शामिल होकर आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ें। Raj-Rajeshwari-Mahila-Samitपद्मश्री जेएम नेलसन के मुख्य आतिथ्य में आयोजित इस समारोह में वरिष्ठ पत्रकार दीपक रंजन दास एवं उद्यमिता के क्षेत्र में एक मुकाम बना चुके संजय सिंह, नगर निगम की सीओ हेमिन वर्मा विशेष अतिथि थे। हाल ही में आयोजित छत्तीसगढ़ी व्यंजन प्रतियोगिता के प्रतिभागियों को इस अवर पर पुरस्कृत किया गया।
प्रख्यात मूर्तिकार जेएम नेलसन ने कहा कि उन्हें जापान जाकर बुद्ध प्रतिमा बनाने का प्रस्ताव मिला पर उन्होंने यह प्रतिमा डोंगरगढ़ की पहाड़ी पर बनाई। अब इसे देखने प्रतिवर्ष फरवरी में जापान सहित अनेक देशों के बुद्धिस्ट यहां जुटते हैं। उन्होंने कहा कि अभावों के बीच उन्होंने अपना काम जारी रखा और सफलता भी मिली। लोग यदि अपना पूरा ध्यान केवल काम को अच्छे से करने में लगाएं तो सफलता अपने-आप पास चली आती है।
भिलाई। महात्मा गांधी की 150वीं जयंती के अवसर पर माँ राज राजेश्वरी महिला स्व सहायता समूह ने ऐसी महिलाओं का सम्मान किया जिन्होंने अपने सामूहिक प्रयासों से आत्मनिर्भरता हासिल की। आज ये सभी विभिन्न महिला स्व सहायता समूहों का संचालन कर रही हैं। महात्मा गांधी का सपना था कि देश की महिलाएं भी शिक्षित हों, निर्णय लें और राजनीतिक, आर्थिक गतिविधियों में शामिल होकर आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ें।पत्रकार/प्राध्यापक दीपक रंजन दास ने कहा कि बढ़ती भौतिक आवश्यकताओं के इस युग में पति-पत्नी दोनों का रोजगार करना लाजिमी हो गया है। पर बच्चों की परवरिश कहीं पीछे न छूट जाए। यदि दोनों मिलकर रोजगार करते हैं तो बच्चों की परवरिश भी दोनों को मिलकर करनी होगी। अगर बच्चे अलग-थलग पड़ गए तो कितना भी धन कमा लो, परिवार की गाड़ी कभी पटरी पर नहीं रह पाएगी।
सफल उद्यमी संजय सिंह ने कहा कि उत्पादन से पहले विक्रय पर ध्यान देना चाहिए। उत्पाद की गुणवत्ता, समय पर डिलीवरी, वसूली और आर्थिक अनुशासन के बिना उद्यमिता सफल नहीं हो सकती। स्व सहायता समूहों के लिए यह सफर कुछ आसान हो सकता है क्योंकि वहां उद्यमी अकेला नहीं है। आप अलग-अलग टीम बनाकर उत्पादन, वितरण एवं वसूली का काम कर सकती हैं। इससे लाभ भी बढ़ेगा और कुछ बड़ा करने का आत्मविश्वास भी पैदा होगा।
माँ राजराजेश्वरी महिला समूह की संचालक बी पोलम्मा ने कहा कि जब से नगर निगम की सीओ हेमिन वर्मा आई हैं, स्व सहायता समूहों के कामकाज में तेजी आई है। वे रायपुर से भिलाई आती हैं, दिन भर काम करती हैं फिर भी जहां बुलाओ पहुंच जाती हैं। इतनी व्यस्त दिनचर्या के बाद भी वे स्वयं को फिट रखने के लिए प्रतिदिन योगा करती हैं और योगा सिखाती भी हैं। सभी महिलाओं को हेमिन की तरह अपने स्वास्थ्य का भी ध्यान रखना चाहिए। इस अवसर पर विशेष सहयोगी प्रमिला पंडित भी उपस्थित थीं।

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