कृष्णप्रिया कथक केन्द्र के 100 बच्चे प्रस्तुत करेंगे नृत्य परंपरा का इतिहास

Krishna Priya Kathak Kendraभिलाई। शास्त्रीय नृत्य की परंपरा का इतिहास भिलाई-दुर्ग के 100 से ज्यादा कलाकार राजधानी रायपुर में मंच पर साकार करने जा रहे हैं। अंतरराष्ट्रीय नृत्य दिवस पर कृष्णप्रिया कथक केंद्र की ओर से एक विशेष नृत्य नाटिका ‘इतिहास-अ टेल आॅफ डांस’ की प्रस्तुति 29 अप्रैल को राजधानी रायपुर के दीनदयाल आडिटोरियम में दी जाएगी। इस नृत्यनाटिका में वैदिक काल से अब तक की नृत्ययात्रा को मंच पर साकार किया जाएगा। नृत्यनाटिका मूलत: कथक नृत्यशैली पर आधारित है। इसमें दुर्ग-भिलाई के 100 से अधिक कलाकार महीने भर से अपनी तैयारियों में लगे हुए हैं। इस नृत्यनाटिका का संचालन कर रहीं केंद्र की निदेशक उपासना तिवारी ने बताया कि भारतीय शास्त्रीय नृत्यों की विशेषता है कि इसका जन्म यौगिक क्रियाओं से हुआ है और इसका अस्तित्व भी उतना ही प्राचीन है। अनेक उतार चढ़ाव के साथ शास्त्रीय नृत्य शैली ने अपना अस्तित्व कायम रखा है। समय की धारा के साथ साथ आधुनिक युक के संगीत नृत्य को अपने में समाहित करते चल रहा है। अंतरराष्ट्रीय नृत्य दिवस के अवसर पर यह नृत्य नाटिका नृत्य जगत के मनीषियों को समर्पित है।

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