Transgender Day celebrated in Durg

सुप्रीम कोर्ट ने दिये अधिकार, अब समाज की बारी, दुर्ग में ट्रांसजेंडर दिवस

दुर्ग। नेशनल ट्रांसजेंडर दिवस के अवसर पर एक स्थानीय होटल में कार्यक्रम का आयोजन किया गया. 14 अप्रैल 2014 को सुप्रीम कोर्ट द्वारा दिये गये ऐतिहासिक फैसले के 11वीं वार्षिकी पर यह आयोजन संघर्ष एक जीवन समिति, श्री शंकराचार्य महाविद्यालय, मितवा समिति, साहस प्रोजेक्ट, जीवन रेखा फाउंडेशन तथा दलित बहुमुखी संस्था ने शिरकत की. किन्नर महामंडलेश्वर सौम्या, देहरादून की ट्रांसक्वीन नताशा नेगी कार्यक्रम में विशेष रूप से मौजूद थीं.
संघर्ष एक जीवन समिति की अगुवाई में दुर्ग नगर निगम के सहयोग से आयोजित इस कार्यक्रम में अतिथि के रूप में भिलाई विधायक देवेन्द्र यादव एवं दुर्ग महापौर अलका बाघमार भी शामिल हुईं. इस अवसर पर वक्ताओं ने कहा कि 14 अप्रैल 2014 को सुप्रीम कोर्ट ने एक ऐतिहासिक फैसला दिया जिससे स्त्री और पुरुष के साथ ही ट्रांस लोगों को तीसरे लिंग के रूप में पहचान मिली. इस फैसले के तहत तृतीय लिंग के लोगों को खुद की पहचान चुनने का अधिकार, सामाजिक कल्याण योजनाओं में शामिल किया जाना और शिक्षण संस्थानों और सरकारी नौकरियों में दाखिले के लिए आरक्षण की व्यवस्था करना शामिल था. इसके बाद कुछ राज्यों में स्थिति बेहतर हुई है पर अभी बहुत काम किया जाना शेष है. समानता के लिए समाज को ही बड़ी भूमिका निभानी होगी.


सुप्रीम कोर्ट ने संविधान के आर्टिकल 14, 16 और 21 का हवाला देते हुए सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि ट्रांसजेंडर देश के नागरिक हैं और शिक्षा, रोजगार एवं सामाजिक स्वीकार्यता पर उनका समान अधिकार है. सुप्रीम कोर्ट ने अपने फैसले में कहा कि किन्नरों को विशेष दर्जा दिया जाए. इस समुदाय को भी बच्चे गोद लेने का अधिकार मिले.
इस अवसर पर श्री शंकराचार्य महाविद्यालय के विद्यार्थियों ने सांस्कृतिक कार्यक्रमों की प्रस्तुति दी. एक नाटक के द्वारा उन्होंने बताया कि ट्रांस लोगों को किस तरह की समस्याओं का सामना समाज में करना पड़ता है. ट्रांस समुदाय के लोगों ने भी इस अवसर पर नृत्यों की ऊर्जावान प्रस्तुतियां दीं.
कार्यक्रम में श्री शंकराचार्य महाविद्यालय की प्राचार्य डॉ अर्चना झा, प्राध्यापक डॉ लक्ष्मी वर्मा, डॉ केजे मंडल, डॉ सुषमा दुबे, जीवन एक संघर्ष समिति की डॉ सुचित्रा शर्मा, मितवा समिति रायपुर की विद्या राजपूत, साहस प्रोजेक्ट की रवीना बरीहा, जीवन रेखा फाउंडेशन के प्रोजेक्ट डायरेक्टर प्रतीक पाठक और प्रबंधक विकास मेश्राम तथा दलित बहुमुखी संस्था से अध्यक्ष सचिन खरे मुख्य रूप से उपस्थित थे.

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