Workshop on Human Rights at Science College

साइंस कॉलेज में मानवाधिकार पर राष्ट्रीय कार्यशाला

दुर्ग। शासकीय विश्वनाथ यादव तामस्कर स्नातकोत्तर स्वशासी महाविद्यालय दुर्ग ’ मानव अधिकार’’ पर 25 से 31 मई तक सात दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला का आयोजन राजनीति विज्ञान विभाग द्वारा आन्तरिक गुणवता प्रकोष्ठ के सहयोग से किया गया। कार्यशाला के संयोजक और आयोजन सचिव डॉ शकील हुसैन ने बताया कि कार्यशाला में 550 से अधिक प्रतिभागियों ने देश के 25 से अधिक राज्यों से पंजीकरण कराया है।कार्यशाला का उद्घाटन हेमचंद यादव विश्वविद्यालय की कुलपति डॉ अरूणा पल्टा ने किया तथा अपने ’’जेण्डर डिस्क्रीमीनेशन -लैंगिक भेदभाव’’ विषय पर विस्तार पूर्ण व्याख्यान दिया। डॉ अरूणा पल्टा ने बताया कि महिला सशक्तीकरण वस्तुत, समाज और परिवार का सशक्तीकरण है।
26 मई को ’’ मनोहर पारीकर इंस्टिट्यूट आफ डिफ्रेंस स्टडीज एण्ड एनालाइसिस नई दिल्ली’’ के मानद सदस्य कैप्टेन आलोक बैंसल ने ’भारत के पड़ोसी देशों में मानवाधिकार की स्थिति पर ’’ शोधपरक व्याख्यान दिया। 27 मई को केन्द्रीय विश्वविद्यालय कश्मीर के चांसलर लेफ्टिनेट जनरल अता हसनैन ने फिलिस्तीन- इसराइल संघर्स के रणनीतिक और मानवाधिकार के पक्षों’’ का विश्लेषण किया। 28 मई को इन्दिरा गांधी केन्द्रीय जनजातीय विश्वविद्यालय में राजनीति विज्ञान की विभागाध्यक्ष डॉ अनुपम पाण्डेय ने जनजातीय अधिकारों’’ का संविस्तार व्याख्या की। 29 मई को रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय जबलपुर में राजनीति विज्ञान के वरिष्ठ प्राध्यापक डॉ विवेक मिश्रा ने मानवधिकार लोकतंत्र ,और वंचितवर्गो के अधिकारों की वैश्विक स्थिति पर विद्वतापूर्ण व्याख्यान दिया। 30 मई को विधि संकाय पं. रविशंकर शुक्ल विश्वविद्यालय, रायपुर की प्राध्यापिका डॉ प्रियाराव ने ’’बालअधिकारों तथा इनसे संबंधित विधि व्यवस्था और न्याय व्यवस्था पर द्वितापूर्ण व्याख्यान दिया।
अंतिम दिन 31मई को इलाहाबाद विश्वविद्यालय के सम्बन्ध महाविद्यालय सी.एम.पी. कॉलेज की राजनीति विज्ञान की प्राध्यापक डॉ अनुराधा सिंह ने ’’मानवाधिकार और बहुसंस्कृतिवाद पर अपना सारगर्भित व्याख्यान प्रस्तुत किया। आयोजन सचिव डॉ शकील हुसैन ने कार्यक्रम के अंत में धन्यवाद ज्ञापन किया। डॉ हुसैन ने बताया कि दक्षिण भारत सहित विभिन्न राज्यों के प्रतिभागियों ने कार्यशाला की प्रसंशा की तथा फीडबैंक में 97 प्रतिशत से अधिक प्रतिभागियों ने वक्ताओं को पुनः सुनने और इस तरह की कार्यशाला के पुनः आयोजन की इच्छा जतायी । कार्यशाला के व्याख्यानों से संबंधित एक लर्निग आउटकम टेस्ट पास कर प्रतिभागियों ने प्रमाण पत्र प्राप्त किए।
कार्यक्रम में डॉ राजेन्द्र चौबे, डॉ ए. के. खान, डॉ शिखा अग्रवाल, डॉ कमर तलत, डॉ अश्विनी महाजन, डॉ ओ. पी. गुप्ता, डॉ अभिनेष सुराना, डॉ के पदमावती, डॉ ज्योति धारकर, डॉ अनिल श्रीवास्तव, डॉ सुचित्रा गुप्ता, डॉ बलजीत कौर, डॉ सपना शर्मा, डॉ एच. पी. सिंह सलूजा, तथा आईक्यूए.सी. प्रभारी डॉ जगजीत कौर सलूजा, एवं डॉ उषा किरण अग्रवाल, प्राध्यापक डी. बी. कन्या महाविद्यालय, रायपुर तथा डॉ प्रशांत श्रीवास्तव छात्र अधिष्ठाता हेमचंद यादव विश्वविद्यालय, दुर्ग उपस्थित रहे तथा सतत् सहयोग कार्यक्रम में बना रहा है।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *