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शंकराचार्य महाविद्यालय में युवाओं में आक्रोश पर परिचर्चा

Nov 24, 2017

भिलाई। श्री शंकराचार्य महाविद्यालय के कला संकाय द्वारा समूह परिचर्चा का आयोजन किया गया परिचर्चा का विषय-'युवाओं में बढ़ता आक्रोश'। परिचर्चा में कला संकाय के विद्यार्थियों को चार समूह हिमालय, नीलगीरी, अरूणाचल और अरावली में बाटा गया। प्रत्येक समूहों द्वारा विषय पर विचार मंथन किया गया समूह हिमालय ने युवाओं के बढ़ते आक्रोश विषय पर चर्चा करते हुए पाया कि युवा फिल्मों में दिखाई जाने वाली हिंसा, उचित दिशा निर्देश का अभाव और परिवार का तुलना करने का व्यवहार ये ऐसी बाते है जो युवाओं में आक्रोश को बढ़ाते है समूह निलगीरी ने अनियमित दिनचर्या सोशल मिडिया एकाकी परिवार को आक्रोश के लिए जिम्मेवार ठहराया। समूह अरूणाचल ने बतालाया की लव अफेयर्स आरक्षण भौतिकतावादी जीवन आक्रोश की ओर ले जाता है।भिलाई। श्री शंकराचार्य महाविद्यालय के कला संकाय द्वारा समूह परिचर्चा का आयोजन किया गया परिचर्चा का विषय-‘युवाओं में बढ़ता आक्रोश’। परिचर्चा में कला संकाय के विद्यार्थियों को चार समूह हिमालय, नीलगीरी, अरूणाचल और अरावली में बाटा गया। प्रत्येक समूहों द्वारा विषय पर विचार मंथन किया गया समूह हिमालय ने युवाओं के बढ़ते आक्रोश विषय पर चर्चा करते हुए पाया कि युवा फिल्मों में दिखाई जाने वाली हिंसा, उचित दिशा निर्देश का अभाव और परिवार का तुलना करने का व्यवहार ये ऐसी बाते है जो युवाओं में आक्रोश को बढ़ाते है समूह निलगीरी ने अनियमित दिनचर्या सोशल मिडिया एकाकी परिवार को आक्रोश के लिए जिम्मेवार ठहराया। समूह अरूणाचल ने बतालाया की लव अफेयर्स आरक्षण भौतिकतावादी जीवन आक्रोश की ओर ले जाता है। महाविद्यालय में राजनैतिक हस्तक्षेप, महंगी शिक्षा रोजगार के अवसरों की कमी, अनिश्चित भविष्य युवाओं को आक्रोशित बनाते है ऐसा समूह अरावली ने अपनी परिचर्चा के दौरान निष्कर्ष में पाया। उक्त कार्यक्रम में महाविद्यालय की प्राचार्या डॉ. रक्षा सिंह ने युवाओं में आक्रोश का कारण ज्ञात करने से ही कार्यपूर्ण नहीं होता इन कारणों को दूर करने का सकारात्मक प्रयास करना भी अनिवार्य है। जिससे युवा शक्ति को देशहित में उपयोग किया जा सकें।
महाविद्यालय के अतिरिक्त निदेशक डॉ. जे. दुर्गा प्रसाद राव ने युवाओं को सकारात्मक सोच के साथ योग और ध्यान के द्वारा स्वयं पर नियंत्रण रखते हुए सामाज निर्माण में अपना सहयोग करने का आग्रह किया।
कार्यक्रम में कला संकाय के समस्त प्राध्यापक एवं विद्यार्थी उपस्थित थें।

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