भिलाई। जगदगुरू शंकराचार्य कॉलेज ऑफ एजुकेशन आमदी नगर में – कोविड-19 चुनौतियां और सामना करने की रणनीति- पर एक दिवसीय राष्ट्रीय वेबीनार का आयोजन किया गया। गंगाजली एजुकेशन सोसायटी के चेयरमैन आईपी मिश्रा, सीओओ डॉ दीपक शर्मा की प्रेरणा से आयोजित इस कार्यक्रम में कोरोना से बचाव के उपायों पर चर्चा की गई। जैसा कि विदित है, इस वैश्विक महामारी के समय हर व्यक्ति किसी न किसी समस्या से जूझ रहा है। कोरोना वायरस की अभी तक कोई दवा नहीं आई है। स्वास्थ्य विभाग का मानना है कि सावधानी और जागरूकता से ही इससे बचा जा सकता है। कार्यक्रम का शुभारंभ संयोजक विभागाध्यक्ष मधुमिका सरकार ने किया। वेबीनार में बारह राज्यों ने भाग लिया। वेबीनार की अध्यक्षता प्राचार्य डॉ वी सुजाता ने राष्ट्रीय वेबीनार के प्रभाव के बारे में और बदल रही शैक्षिक रणनीतियों पर चर्चा की।
हेमचंद विश्वविद्यालय की कुलपित डॉ अरुणा पल्टा ने अपने वक्तव्य में कहा कि शैक्षिक जगत में बढ़ रही चुनौतियों के बारे में चर्चा करते हुए ऑनलाइन स्टडीज की बढ़ती हुई जरूरत तथा उसकी चुनौतियों की चर्चा की। उन्होंने कहा कि स्टूडेंट को हर तरह के परीक्षा के लिए तैयार रहन होगा।
कमांडर गुरुमूर्ति गंगाधरण डायरेक्टर गीतम यूनिवर्सिटी विशाखापटनम ने कोरोनाकाल में बढ़ रही प्लेसमेंट चुनौतियों के बारे में विस्तार से चर्चा की। उन्होंने छात्रों में संप्रषण कौशल को विकसित करने के लिए कहा। साथ ही उन्होंने स्वमूल्यांकन एवं व्यक्तित्व विकास पर जोर दिया।
डॉ असीम कुमार मित्रा वैज्ञानिक इंडियन मिटीरियोलॉजिकल डिपार्टमेंट, मिनिस्ट्री ऑफ अर्थ साइंसेज ने अपने वक्तव्य में लॉकडाउन में हुए पर्यावरण परिवर्तन की चर्चा करते हुए कहा कि वायुमंडल में व्याप्त प्रमुख हानिकारक तत्व जैसे पीएम 25 सल्फर डाइऑक्साइड, कार्बन मोनोऑक्साइड एवं नाइट्रस ऑक्साइड, एयरोसोल सीएससी की विस्तृत चर्चा की तथा इससे मानव स्वास्थ्य पर होने वाले हानिकारक प्रभावों के बारे में भी विस्तार से जानकारी दी।
कौस्तुभ धर्माधिकारी डायरेक्टर एंड एंटरप्रेन्योरशिप फूड इंडिया प्राइवेट लिमिटेड रायपुर ने अपने वक्तव्य में कोरोना से बचने के खान-पान संबंधित उपायों को साझा किया साथ ही उन्होंने डब्ल्यूएचओ द्वारा दी गई फूड गाइडलाइन्स के बारे में भी चर्चा की। महाविद्यालय की सहा. प्राध्यापक रजनी राय ने धन्यवाद ज्ञापन किया।