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भिलाई महिला महाविद्यालय में प्रेरणा कार्यक्रम का किया आयोजन

May 12, 2018

भिलाई। भिलाई महिला महाविद्यालय में डी.एल.एड समूह द्वारा प्रेरणा कार्यक्रम का आयोजन किया गया। मुख्य अतिथि डिप्टी डायरेक्टर एजुकेशन तथा डाइट, दुर्ग की प्रिंसिपल श्रीमती मंजू पशीने थीं। भिलाई महिला महाविद्यालय की प्रिंसिपल डॉ. जेहरा हसन, वाइस प्रिंसिपल डॉ. सुषमा मेने, भिलाई एजुकेशन ट्रस्ट के सचिव सुरेन्द्र गुप्ता, होमसाइंस की हेड डॉ. संध्या मदनमोहन, एनआईओएस की समन्वयक तथा बीएड विभाग की हेड डॉ. मोहना सुशांत पंडित, कॉलेज के एनआईओएस के रिसोर्स पर्सन भावना, नाजनीन बेग, आशा साहू सहित महाविद्यालय के अन्य विभागों के फैकल्टी मेम्बर्स तथा स्टाफ उपस्थित थे।भिलाई। भिलाई महिला महाविद्यालय में डी.एल.एड समूह द्वारा प्रेरणा कार्यक्रम का आयोजन किया गया। मुख्य अतिथि डिप्टी डायरेक्टर एजुकेशन तथा डाइट, दुर्ग की प्रिंसिपल श्रीमती मंजू पशीने थीं। भिलाई महिला महाविद्यालय की प्रिंसिपल डॉ. जेहरा हसन, वाइस प्रिंसिपल डॉ. सुषमा मेने, भिलाई एजुकेशन ट्रस्ट के सचिव सुरेन्द्र गुप्ता, होमसाइंस की हेड डॉ. संध्या मदनमोहन, एनआईओएस की समन्वयक तथा बीएड विभाग की हेड डॉ. मोहना सुशांत पंडित, कॉलेज के एनआईओएस के रिसोर्स पर्सन भावना, नाजनीन बेग, आशा साहू सहित महाविद्यालय के अन्य विभागों के फैकल्टी मेम्बर्स तथा स्टाफ उपस्थित थे।श्रीमती पशीने ने डी.एल.एड. प्रशिक्षार्थियों से कहा कि प्रशिक्षण के माध्यम से वे अपना अध्यापन कार्य अधिक प्रभावी तरीके से कर पायेंगे। शिक्षा को बाल केन्द्रित कर दिये जाने पर विशेष जोर देते हुए उन्होंने आशा व्यक्त की कि प्रशिक्षु प्रशिक्षण के माध्यम से प्राप्त ज्ञान को आत्मसात कर इसका प्रयोग अपने स्टूडेंट्स के विकास में करेंगे। प्रिंसिपल डॉ. जेहरा हसन ने कहा कि भारत सरकार के मानव संसाधन विकास मंत्रालय के द्वारा अप्रशिक्षित प्रायमरी स्कूल के शिक्षकों को प्रशिक्षण के लिये एनआईओएस के माध्यम से जो यह योजना चलाई जा रही है उसका शिक्षकों ने लाभ लेकर राष्ट्र को शिक्षा के क्षेत्र में सुदृढ़ करने का अपना पूरा प्रयास करना चाहिये। सचिव सुरेन्द्र गुप्ता ने कहा कि विकास ही हमारी शिक्षा का प्रमुख लक्ष्य होना चाहिये। वाइस प्रिंसिपल डॉ. सुषमा मेने ने कहा कि जो शिक्षक बच्चों को धैयर्पूर्वक शिक्षा प्रदान करते हैं वे सचमुच एक अत्यंत ही कठिन कार्य कर रहे हैं। डॉ. संध्या मदनमोहन ने नर्सरी व प्रायमरी स्कूल के टीचर्स के कार्य को अत्यंत महत्वपूर्ण बताते हुए ऐसे शिक्षकीय कार्य को महान बताया। एनआईओएस की समन्वयक तथा बीएड विभाग की हेड डॉ. मोहना सुशांत पंडित ने डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन के कथन का उल्लेख करते हुए कहा कि सर्वात्तम शिक्षक वह होता है जो विद्याथिर्यों में सीखने की रूचि उत्पन्न करता है। अत: पढ़ाये जा रहे विषय को रूचिकर बनाना बहुत ही जरूरी है और इसके लिये शिक्षकों का प्रशिक्षित होना अत्यंत आवश्यक है।
इस अवसर पर डी.एल.एड. कोर्स का प्रशिक्षण प्राप्त कर रहे विभिन्न शालाओं से आये हुए इन डी.एल.एड. प्रशिक्षुओं द्वारा बनाये गये विभिन्न मॉडल तथा चार्ट की प्रतियोगिता प्रदशर्नी का भी आयोजन किया गया जिसमें नॉन वर्किंग मॉडल में प्रथम संगीता प्रसाद, द्वितीय समीन बुशरा, तृतीय सुमन मिश्रा रहीं। चार्ट प्रदशर्नी में प्रथम पुरस्कार कामिनी देवांगन, द्वितीय पुरस्कार अलका वुइके, तृतीय पुरस्कार द्रौपदी निषाद को तथा स्नेक एण्ड लेडर स्कूल लेवल चार्ट प्रतियोगिता में प्रथम सनशाईन हा. सेकण्डरी स्कूल, दुर्ग द्वितीय – महारानी लक्ष्मीबाई स्कूल, भिलाई तथा तृतीय शहीद वीर नारायण स्कूल, भिलाई रही। विजेताओं को मुख्यअतिथि द्वारा पुरस्कृत किया गया। डी.एल.एड. प्रशिक्षुओं द्वारा रंगारंग सांस्कृतिक कार्यक्रम भी प्रस्तुत किये।
कार्यक्रम का संचालन शाला शिक्षिकाओं योगिता सोनी तथा संगीता प्रसाद द्वारा किया गया। आभार प्रदर्शन नागेश्वरी योगी ने किया। कार्यक्रम के सफल आयोजन में शालेय शिक्षिकाओं श्रीमती रीना यादव, दीप्ति, मीना तांदुलकर, समीन बुशरा, रेवती तथा रितिका का उल्लेखनीय योगदान रहा।

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