भिलाई. विश्व मानवाधिकार दिवस के अवसर पर एमजे कालेज में विचार गोष्ठी का आयोजन किया गया. प्राचार्य डॉ अनिल कुमार चौबे ने कहा कि दुनिया भर में समर्थों और ताकतवर लोगों द्वारा लाचारों का शोषण उत्पीड़न किया जाता है. युद्ध की विभीषिकाओं का भी उन्हीं लोगों पर सबसे ज्यादा असर होता है जिनका इससे कोई लेना देना नहीं होता. ऐसे लोगों के मानवाधिकार के प्रति लोगों को संवेदनशील बनाने के लिए ही मानव दिवस की परिकल्पना की गई. यह लोगों को गरीब, लाचार और साधन विहीन लोगों की सहायता के लिये प्रेरित करता है.
फार्मेसी कालेज के संयुक्त तत्वावधान में आयोजित को संबोधित करते हुए फार्मेसी कालेज के प्राचार्य डॉ विजेन्द्र सूर्यवंशी ने कहा कि छत्तीसगढ़ ने मानवाधिकार का संदेश बहुत पहले दे दिया था. गुरू घासीदास ने “मनखे मनखे एक समान” का नारा दिया था. ऊंच नीच और भेदभाव कभी भी छत्तीसगढ़ की संस्कृति का हिस्सा नहीं रहा. पर समय के साथ यह विष भी यहां के वातावरण में घुल गया. हमें इसे दूर करना है.
एऩएसएस कार्यक्रम अधिकारी द्वय शकुन्तला जलकारे एवं पंकज साहू ने भी कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सभी उपस्थित जनों को सबके मानवाधाकिरो का सम्मान करने तथा उसकी सुरक्षा करने की शपथ दिलाई. आयोजन में रासेयो स्वयंसेवक और विद्यार्थीगण बड़ी संख्या में मौजूद थे.