भिलाई. श्री शंकराचार्य महाविद्यालय एवं हेमचंद यादव विश्वविद्यालय के संयुक्त तत्वावधान में युवा महोत्सव 2023 के अंतर्गत नाट्य प्रतियोगिता का आयोजन किया गया. कुल 15 महाविद्यालयों ने इस प्रतियोगिता में भाग लिया. शराबबंदी, नशाखोरी, जात-पात, प्लास्टिक, सोशन मीडिया के दुष्परिणाम, अशिक्षा, पुलिस का कर्तव्य, दहेज, नेत्रदान, स्वामी विवेकानंद का जीवन दर्शन आदि विषयों पर नाटक प्रस्तुत किए गए.
इस कार्यक्रम में मुख्य अतिथि एवं निर्णायक के रूप में वरदा जोशी, वरिष्ठ सदस्य, भिलाई महाराष्ट्र मंडल, जाॅली सेन, भिलाई इस्पात संयंत्र एवं विश्वविद्यालय की ओर से पर्यवेक्षक के रूप में डाॅ. राजमणी पटेल, उपकुलसचिव, हेमचंद यादव विश्वविद्यालय उपस्थित थे.
महाविद्यालय की प्राचार्या डाॅ. अर्चना झा ने अपने स्वागत भाषण में अतिथियों का हार्दिक अभिनंदन करते हुए कहा कि स्किट के माध्यम से समाज एवं व्यक्ति के चरित्रों एवं समस्याओं का प्रदर्शन किया जाता है. यह दृश्य काव्य के अंतर्गत आता है जो रंगमंच का विषय है, जिसका उद्देश्य शिक्षण और मनोरंजन के साथ-साथ मानवीय संवेदना, समस्या एवं समाज के यथार्थ का चित्रण करना है. अतः सभी प्रतिभागियों को अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करने की शुभकामनाएं दी.
कार्यक्रम के अंत में जाॅली सेन ने सभागार में उपस्थिति सभी प्रतिभागियों को नाटक एवं नुक्कड़ नाटक में अंतर बताया और पूरे कार्यक्रम में उनके प्रदर्शन के दौरान की गई खामियों को उजागर किया. उन्होंने कहा कि किसी भी कथानक को अधूरा नहीं छोड़ना चाहिए. वाइस माडूलेशन तथा मूवमेंट पर कंट्रोल करना आवश्यक है.
वरदा जोशी ने अपने उद्बोधन में कहा कि नाटक के किरदारों को कभी भी दशकों की ओर अपनी पीठ नहीं दिखानी चाहिए और किसी भी स्क्रिप्ट को भली-भांति तैयार करके यादकरके ही नाटक का मंचन करना चाहिए. उन्होंने सभी प्रतिभागियों को भावी जीवन की शुभकामनाएं दी.
निर्णायक द्वय को स्मृति चिन्ह भेंटकर उनका सम्मान किया गया. महाविद्यालय के डीन (अकादमिक) डाॅ. जे. दुर्गा प्रसाद राव ने हेमचंद यादव विश्वविद्यालय, दुर्ग को धन्यवाद ज्ञापित किया और उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम में निर्णायकों द्वारा जिन खामियों का उल्लेख किया गया है उसे अमल में लाकर सभी प्रतिभागी अपनी अभिनय प्रतिभा को निखार सकते हैं.
इस कार्यक्रम का संचालन महाविद्यालय के सहायक प्राध्यापिका माधुरी वर्मा द्वारा किया गया. कार्यक्रम में प्रीति श्रीवास्तव एवं डाॅ. लक्ष्मी वर्मा कार्यक्रम समन्वयक सहित महाविद्यालय के सभी प्राध्यापकगण एवं बड़ी संख्या में अन्य महाविद्यालय से आए छात्र-छात्राएं उपस्थित थे.