दुर्ग. शासकीय डॉ वावा पाटणकर कन्या स्नातकोत्तर महाविद्यालय में लर्निंग लिंक फाउंडेशन एवं मास्टर कार्ड के सौजन्य से छः दिवसीय कौशल विकास कार्यशाला ‘सशक्ति’ काआयोजन किया गया. इसके अंर्तगत डिजिटल लर्निंग, फाइनेंशियल लर्निंग एवं इंटरप्रेनर्शिप की विस्तृत जानकारी प्रदान की गई. कार्यशाला की संयोजक डाॅ. रेशमा लाकेश ने बताया कि अपना व्यवसाय शुरू करने के समस्त गुर सिखाए गए. इनमें बिजनेस प्लानिंग, डिजाइनिंग, मार्केटिंग, प्रोडेक्ट, मैन्यूफैक्चरिंग, एडवर्टिजमेंट, सोशल मीडिया का उपयोग, लागत, खपत, लाभ, हानि, आर्थिक सहायता आदि की बारीकियां सिखायी गई.
विषय विशेषज्ञों के भाषण एवं पॉवर प्वाईन्ट प्रजेंटेशन तथा रोचक गतिविधियों ने इस कार्यशाला को आकर्षक बनाया. 200 स्नातकोत्तर छात्राओं ने यह प्रशिक्षण प्राप्त किया.
महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ सुशील चंद्र तिवारी ने बताया कि वर्तमान समय में डिग्री के साथ कौशल विकास की अत्यन्तआवश्यकता है जिसके लिये महाविद्यालय द्वारा इस तरह की कार्यशालाओं का आयोजन किया जाता है. जिससे छात्राओं में विभिन्न क्षेत्रों में नया सीखने का अवसर मिल सके.
लर्निंग लिंक फाउंडेशन की स्टेट मैनेजर शबाना कालिम रिजवी ने बताया कि उनकी संस्था सम्पूर्ण भारत में टेक्नालॉजी, इनोवेशन, रिसर्च, स्किल एवं एंट्रीप्रेन्शिप पर विशेष कर महिलाओं के लिये कार्यरत है. इनका मानना है कि महिलाओं की आर्थिक आत्मनिर्भरता आवश्यक है.
मुख्य अतिथि पद्मश्री शमशाद बेगम अपनी संघर्षपूर्ण जीवन गाथा एवं गीतों से छात्राओं को प्रेरणा दी. लुबना नूर ने प्रशिक्षण से प्राप्त जानकारियों को बहुत लाभकारी बताया. इस अवसर पर प्रशिक्षण प्राप्त छात्राओं को प्रमाणपत्र प्रदान किए गये.
कार्यक्रम का संचालन तब्बसुम अली एवं आभार प्रदर्शन डॉ. अनुजा चौहान ने किया.