भिलाई। हाइटेक में आमाशय पॉलिप के एक दुर्लभ मामले की सर्जरी की गई है. यह एक अत्यंत विरल स्थिति है जिसमें आमाशय के भीतर मस्से बनने लगते हैं और वहां से खून रिसता रहता है. लंबे समय तक बने रहने पर ये मस्से कैंसर में तब्दील हो सकते हैं. इस महिला के पेट में 25 से ज्यादा मस्से थे जिनमें से कुछ का आकार काफी बड़ा था. एंडोस्कोप के जरिए इन मस्सों को काट कर निकाल दिया गया.
हाइटेक के गैस्ट्रोएंट्रोलॉजिस्ट डॉ आशीष चंद देवांगन ने बताया कि इन पॉलिप्स को निकालने के साथ ही कुछ सैम्पल लैब टेस्ट के लिए भेजे गए थे. वहां से इन मस्सों के गैस्ट्रिक न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर टाइप-1 होने की पुष्टि हुई है. पॉलिप्स की वजह से महिला को केवल पेट में दर्द बना रहता था बल्कि वह कुछ खा भी नहीं पाती थी. जब उसे अस्पताल लाया गया तो उसका हीमोग्लोबिन स्तर 4-5 तक गिर चुका था.
रोग पकड़ में आने के बाद एंडोस्कोप के द्वारा ही पॉलिप्स को हटा दिया गया. इसके बाद महिला को न केवल दर्द से मुक्ति मिल गई बल्कि वह सामान्य भोजन पर भी लौट गई है. सबसे अच्छी बात यह है कि अब उसका हीमोग्लोबिन स्तर भी बढ़कर 11 तक पहुंच गया है. ऐसे मामलों में मरीज को छह से आठ महीने के बीच एक डायग्नोस्टिक एंडोस्कोपी कराने की सलाह दी जाती है ताकि पॉलिप के दोबारा बनने पर नजर रखी जा सके.
उन्होंने बताया कि इससे पहले सर गंगाराम अस्पताल दिल्ली के अपने कार्यकाल में हालांकि उन्होंने इस तरह के कुछ मामले देखे थे पर भिलाई में उनके पास आया स्टमक पॉलिप का यह पहला मामला था.