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जीरो फिगर सिर्फ एक शिगूफा

Dec 19, 2014

shweta padda, mrs internationalभिलाई। मिसेज इंटरनेशनल श्वेता पड्डा कहती हैं कि जीरो फिगर एक शिगूफा है जिसके पीछे लड़कियां पागल हो रही हैं। असली जरूरत स्वस्थ रहने की है। अच्छे स्वास्थ्य की चमक आपके पूरे व्यक्तित्व को निखारती है और आपके चेहरे पर भी झलकती है। श्वेता कहती हैं कि जीरो फिगर के चक्कर में खाना पीना छोड़ देने से अच्छा है कि आप नियमित रूप से वर्जिश करें। खुद अपना उदाहरण देते हुए वे कहती हैं कि उनके फार्म हाउस पर डेयरी भी है। 22 से अधिक लोग काम करते हैं। पर उन्होंने घर के लिए कोई कामवाली नहीं रखी। >>>shweta paddaजिम जाने, योगा करने के अलावा वे घर का सारा काम खुद करती हैं जो फिटनेस मेन्टेन करने में उनकी मदद करता है। वे कहती हैं कि पौष्टिक भोजन और अच्छी दिनचर्या आपको न तो मोटा होने देती है और न ही आपके शेप को खराब करती है।
वे कहती हैं कि किसी परिधान विशेष के लिए एक खास किस्म के शरीर की जरूरत फैशन इंडस्ट्री को कभी कभार हो सकती है किन्तु जीरो फिगर की कहीं कोई डिमांड नहीं है। यह न तो फैशन इंडस्ट्री की डिमांड है और न ही शो बिजनेस की। इन क्षेत्रों में काम करने के लिए भरपूर ऊर्जा और स्ट्रेंथ की जरूरत पड़ती है। वे अच्छा भोजन लेती हैं। स्लिम ट्रिम रहने के लिए प्रतिदिन वर्कआउट करती हैं।
श्वेता को हाल ही में गोल्डन फीनिक्स अवार्ड से नवाजा गया है। उन्हें मलेशिया के पैलेस ऑफ गोल्डन हॉर्सेस में गोल्डन फीनिक्स के शीर्ष सम्मान बेनिवोलेंस अवार्ड प्रदान किया गया। भारत की किसी महिला को एशिया का यह शीर्ष सम्मान पहली बार दिया गया है।
शरण वेलफेयर एंड एजुकेशनल सोसायटी की संचालक श्वेता नेत्रदान अभियान की ब्रांड अम्बेसेडर भी हैं। उन्होंने वल्र्ड विजन आर्गनाइजेशन से एक बच्ची गोद ली है तथा मधुमेह पीडि़त बच्चों को स्पांसर करती हैं।
श्वेता बताती हैं कि उन्होंने बतौर स्त्री, स्वयं को कभी हेय नहीं समझा। हमेशा पुरुषों के कंधे से कंधा मिलाकर चुनौतियों को स्वीकार किया। अपनी बात को साफ-साफ रखना, अपनी क्षमता अनुसार जरूरतमंदों की मदद करने की प्रवृत्ति उन्हें परिवार से विरासत में मिली। वे कहती हैं कि अपने बच्चों की काउंसिलिंग के लिए आज भी वे अपने माता-पिता की मदद लेती हैं। उन्होंने ऐसे सेशन्स का वीडियो भी बना रखा है। वे कहती हैं कि उनके व्यक्तित्व पर पिता अशोक कुमार तलवार तथा माता महर्षि विद्या मंदिर की प्राचार्य श्रीमती उषा तलवार का गहरा प्रभाव है।
shweta paddaसफलता के टिप्स : श्वेता कहती हैं कि अपने ऊपर भरोसा रखें। चाल-ढाल, उठने बैठने, भाव भंगिमा में आत्मविश्वास झलकनी चाहिए। आप जो हैं- जैसी हैं, उसपर गर्व करें। जो आप नहीं हैं, वह दिखाने की कोशिश न करें। प्रत्येक घटना या व्यक्ति का सकारात्मक विवेचन करें, जीवन में जो कुछ होता है उसे सहजता के साथ स्वीकार करने की कोशिश करें। अनुशासित रहें, समय की पाबंद रहें – सफलता आपके कदम चूमेगी।
सबसे बड़ा काम्प्लीमेंट : मेरे बच्चे मुझे राकिंग सुपर मॉम कहते हैं।
अगले जन्म में पशु बनना पड़ा तो : मैं घोड़ा बनना पसंद करूंगी। वह शक्ति और एकाग्रता का द्योतक है।
एक व्यवस्था जिसे आप तोडऩा चाहेंगी : ब्यूरोक्रेसी। यह काम की गति को धीमी करती है।
आपको गुस्सा कब आता है : जब मैं सक्षम लोगों को अपनी क्षमताओं का उपयोग करने के बजाय दूसरों की कमियां निकालते देखती हूं।
कौन सा मुहावरा आपको प्रभावित करता है : जीवन एक विशाल कैनवास है। इसे आप मनचाहा रंग दें।

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