भिलाई। एक 35 वर्षीय बैंक कर्मचारी के गले में मछली का कांटा फंस गया। काफी कोशिशों के बाद भी जब कांटा नहीं निकला तो उन्हें हाइटेक सुपरस्पेशालिटी हॉस्पिटल लाया गया। ईएनटी विशेषज्ञ डॉ अपूर्व वर्मा ने एंडोस्कोप की मदद से ही पहले कांटे का पता लगाया और फिर लैंरिंगोस्कोप के जरिये फोरसेप डालकर उसे बाहर खींच लिया। आश्चर्य की बात यह है कि कांटा लगभग 2 इंच का था।डॉ अपूर्व ने बताया कि मछली खाते समय गले में कांटे का फंसना एक बेहद आम समस्या है। आम तौर पर यह कुछ और निगलने से अपने आप निकल कर पेट में चला जाता है पर कभी-कभी यह ऐसा फंसता है कि परेशानी खड़ी कर देता है। इस मामले में भी ऐसा ही हुआ था।
बैंक कर्मचारी ड्यूटी से लौटते समय मछली ले आया था। भोजन से पहले वह फ्राई का आनंद ले रहा था कि तभी गले में कांटा फंस गया। खांसने-खखारने पर भी जब वह नहीं निकला तो वे सीधे अस्पताल पहुंचे। ईएनटी एंडोस्कोप से जब गले की जांच की गई तो कांटा टान्सिल के पीछे गहरा धंसा मिला। उन्होंने लैंरिंगोस्कोप से फोरसेप को गले में पहुंचाया और कांटे को साबुत खींच लिया। थोड़ी ही देर में मरीज को छुट्टी दे दी गई।