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मूत्र विसर्जन का रास्ता बंद, खतरे में थी किडनियां, आरोग्यम में हुआ इलाज

Apr 8, 2024
Blockage removed from both ureters of 22 yr old patient

भिलाई। 22 वर्षीय रवि कुमार को बेहद गंभीर स्थिति में आरोग्यम सुपर स्पेशालिटी हॉस्पिटल लाया गया था. उसका पेशाब बंद हो चुका था और पेट में भयंकर दर्द था. फौरी जांच में उसका मूत्राशय खाली मिला. सोनोग्राफी एवं अन्य जांचों के बाद पता लगा कि किडनी से ब्लैडर तक आने वाली दोनों मूत्र नलियों में पथरी थी. मूत्र रुकने की वजह से किडनियां सूजी हुई थीं और कभी भी फट सकती थी.
यूरोलॉजिस्ट डॉ नवीन राम दारूका ने बताया कि मरीज का क्रेटिनिन लेवल 5 तक पहुंचा हुआ था. यूरेटर में फंसी हुई पथरी काफी बड़ी और सख्त थी. इसे लेजर से तोड़ा गया और यूरेटर का अवरोध हटते ही मरीज का पेशाब उतरने लगे. पहले ही घंटे में लगभग एक लिटर और दूसरे दिन मरीज ने लगभग तीन लिटर मूत्र विसर्जन किया. क्रेटिनिन उतर कर 3 पर आ गया था. सामान्य स्थिति में क्रेटिनिन का स्तर 0.7 से 1.3 के बीच रहता है.
डॉ दारूका ने बताया कि एक तरफ जहां पर्याप्त पानी पीना सेहत और जीवन के लिए जरूरी है वहीं दूसरी तरफ इस बात का भी ध्यान रखना चाहिए कि मूत्र विसर्जन पर्याप्त मात्रा में हो रहा है या नहीं. पेशाब में जलन, पेशाब में पीलापन, पेशाब का रुक रुक कर आना कई दूसरी बीमारियों का संकेत हो सकता है. ऐसी स्थिति में तत्काल चिकित्सकीय परामर्श लेना चाहिए.

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